बावली बूच गीत - लाल रंग (2016)

By दामिनी दामिनी चौहान

बावली बूच गीत रणदीप हुड्डा, अक्षय ओबेरॉय और पिया बाजपेयी अभिनीत 'लाल रंग' से। सैयद अहमद अफ़ज़ल द्वारा निर्देशित, मथियास डुप्लेसी द्वारा संगीतबद्ध किया गया है। बावली बूच के बोल दुष्यंत कुमार ने लिखे हैं। यह बॉलीवुड गाना द्वारा गाया गया है विकास कुमार.

गायक: विकास कुमार

गीत: दुष्यन्त कुमार

संगीत: माथियास डुप्लेसी

एल्बम/मूवीनिल बट्टे सन्नाटा

लंबाई: 3:22

रिहा: 2016

म्यूज़िक लेबल: टी-सीरीज़

बावली बूच के बोल का स्क्रीनशॉट

बावली बूच गीत - लाल रंग

बावली बूच कह दिल की दिल की
हाथ थाम कह सिल्की सिल्की

हे बावली बूच कह दिल की
हाथ थाम कह सिल्की सिल्की

कह गए शाने, सोच साच के
सहज पा के तो आवे स्वाद
इश्क पकाया मंडे आंच पे
भूत पा के तो हो बरबाद

खोल खोल गाथ, इब मन की
बोल बोल बात, इब मन की

दो मन इक हो जाओ रे

दिल नई सैन, ये गांवों के
धरले कदम, तू पचन के
रास्ते इक हो जाओ रे

बावली बूच के दिल की दिल की
हाथ थाम के सिल्की सिल्की

हे बावली बूच के दिल की दिल की
हाथ थाम के सिल्की सिल्की

खंड ते मिश्री मीठी
इश्क उस्ते भी मीठा (एक बार दोहराएं)

आंख ते चखले तू प्यारे
यार का दर्शन मीठा रे
बांध के रखले तू प्यारे

बावली बूच कह दिल की दिल की
हाथ थाम कह सिल्की सिल्की

हे बावली बूच कह दिल की
हाथ थाम कह सिल्की सिल्की

मुह से कहीं नहीं मानी
दिल से कहीं नहीं जानी
इब तो संघ हो जाओ रे

जिस्ने सुनी बात मन की
पार लगा नदी मन की
मन का गीत ही गाओ रे

बावली बूच कह दिल की दिल की
हाथ थाम कह सिल्की सिल्की

हे बावली बूच कह दिल की
हाथ थम कह सिल्की सिल्की

बावली बूच कही की..

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